Monday 25 February 2013

Diabetic Patients be Live Fit. Change your future with without Tablets & Injections Amazing, How ?



Diabetic Patients be Live Fit. Change your future with 


without Tablets & Injections. Wow  How  ?







               AS I ASK YOU, I HOPE THAT THE GREAT 

 SCIENTIST Dr. APJ  ABDUL KALAM MAY ALSO ASK 

AND SUGGEST YOU " DEAR DIABETIC PATIENT, WHY DO 

YOU MAINTAIN THE HABIT OF MADICINES OR INJECTIONS 

TO SURVIVE & FIGHT AGAINST DIABETES ?  

NOW YOU MAY ' THROW-OUT SUCH HABIT & LIVE 

FIT ' BY HOLDING AN GADGET IN YOUR OWN HANDS 

FOR HALF AN HOUR TWO TIMES DAILY, 

WITH WITHOUT SIDE EFFECTS. 



                                For availability of such gadget contact to Mr. 

VISHAL THAKUR. Director REVOLUTIONARY HEALTH & CARE, 

AURANGABAD. CONTACT No. :-- 093 20 144007 Or 

RISHIKESH RAMDASI +91 9921151107.

                In the interest of healthy humen beings and as a 

non commercial - non political Social Worker, I here by 

request to all the diabetic patients, Kindly verify,satisfy & go 

through the above. ALWAYS LIVE HEALTHY.


------ Chandrakant Vajpeyi. Sr. Citizen & Social Worker, 
Aurangabad.
Email : chandrakantvjp@gmail.com +91 9730500506.
Always Don"t compare yourself with anyone.... if you do so, you are insulting yourself.

Sunday 3 February 2013

आरोपो - प्रत्यारोपो से देश में उपज रही अशांती को रोकने हेतू प्रस्तुत सुझावो पर अंमल करने के लिये केंद्रीय गृहराज्य मंत्री को निवेदन -पत्र.


from: Chandrakant Vajpeyi <chandrakantvjp@gmail.com>
to: rpn.singh@nic.in
date: Mon, Feb 4, 2013 at 1:59 AM
subject: आरोपो - प्रत्यारोपो से देश में उपज रहे अशांती पूर्ण वातावरण को स्थायी रोकने के उपायो हेतू --
 सुझावात्मक निवेदन पत्र ।
mailed-by: gmail.com

दिनांक ०४ फरवरी २०१३.
प्रेषक :-- चंद्रकांत वाजपेयी. { जेष्ठ नागरिक एवं सामाजिक कार्यकर्ता } 
            एल १ / ५, कासलीवाल विश्व, उल्कानगरी, गारखेडा, औरंगाबाद. 
                         औरंगाबाद  ( महाराष्ट्र ) पिन :-- 431001.   
       ई -मेल :-- chandrakantvjp@gmail.com +91 9730500506 begin_of_the_skype_highlighting            +91 9730500506      end_of_the_skype_highlighting .

प्रतिष्ठा में, 
आदरणीय आर. पी. एन. सिंह साहब,  
                  { केंद्रीय गृह राज्यमंत्री }
          कमरा क्रमांक १२७,  गृह राज्य मंत्री कार्यालय  
                       भारत शासन,  दिल्ली.  
ई - मेल आईडी:--    rpn.singh@nic.in
(011) 24632653, 24649194 Fax. (011) 24649195.

विषय :-- आरोपो - प्रत्यारोपो से देश में उपज रहे अशांती पूर्ण वातावरण को 
                     स्थायी रोकने के उपायो हेतू सुझावात्मक निवेदन पत्र ।

संदर्भ :-- दिनांक ०३ / ०२ / २०१३ को " आज तक टिव्ही चैनल " के 'सीधी बात' कार्यक्रम में एंकर 
             श्री राहुल कंवर साहाब के सामने आपके द्वारा देशहित में अभिव्यक्त चिंता / वक्तव्य।


माननीय मंत्री महोदय,
                                           देशोन्नती एवं राष्ट्रसुरक्षा कार्यार्थ
                                       " हा र्दि क शु भ का म ना यें "

          दिनांक ०३ / ०२ / २०१३ को रात्रि ०८:३० से ०९:०० बजे के मध्य "आज तक टिव्ही चैनल" के 
'सीधी बात' कार्यक्रम में आपनें एंकर श्री राहुल कंवर साहाब से स्पष्ट रूप से कहा है कि :
" भारत में   आज   किसी भी व्यक्ति पर,   कभी भी,   किसी भी प्रकार   का झूठा 
( या सच्चा )  आरोप  लगाना  बहुत  सरल  हो  गया  है  । "

माननीय मंत्री जी,  गृह मंत्रालय का दायित्व होनें के बावजूद आपनें बिना लाग लपेट के सच्चाई 
प्रस्तुत की है वह तारीफे काबिल है , इसके लिए मै आपका हार्दिक स्वागत और अभिनन्दन करता हूँ।

मेरी समझ के अनुसार,  माननीय मंत्री जी द्वारा इस कथन के पीछे 
यह मकसद होना चाहिए कि :--
" देश में आजकल सरकारी कार्यालयों की व्यवस्था और नेता ओं/अधिकारियों - कर्मचारियों के 
बयानों के आधार पर राजनीतिक कारणों से अथवा स्वार्थी आर्थिक हितों के कारण बहुत ही 
सहजता के साथ झूठे (या सच्चे) इल्जाम लगाए जा रहे है । इन आरोपों और प्रत्यारोपोंसे देशभर में 
परस्पर वर्मनस्य - शत्रुता का भाव और अशांति का फैलाव बढ़ता जा रहा है ,जिसका रोका जाना 
देश की परम आवश्यकता है।"

माननीय मंत्री जी, मै एक जेष्ठ नागरिक हूँ ।  देशहित का विचार करना व उसके परिपालन में प्रामाणिक प्रयास करना 
अपना राष्ट्रीय धर्म-कर्तव्य मानता हूँ । उपरोक्त राष्ट्रीय धर्म-कर्तव्य का पालन करते हुवे यहाँ पर आपका ध्यानाकर्षण 
करना चाहता हूँ कि 
" अनुभवों और सामान्य सर्वे के अनुसार आरोपों-प्रत्यारोपों के प्रमुख क्षेत्र "आर्थिक व्यवस्था"
पद्धती  और  "दोषपूर्ण कार्यालयीन कार्य पद्धति" पाए गये है ।  इन दोनों ही क्षेत्रों में पारदर्शिता के 
अभाव के कारण संदेह उत्पन्न होते है, जो परस्पर आरोप - प्रत्यारोपों के कारक होते है ।''

माननीय मंत्री महोदय, यह हर्ष और समाधान का विषय है की उल्लेखित समस्या का निदान देश में 
उपलब्ध है। बिना किसी विशेष परिश्रम लिए उक्त समस्या को न्यूनतम स्तर या शुन्यता की ओर ले 
जाया जा सकता है। इसके लिए " केवल आपके स्वयं के, क़ानून मंत्री जी के और माननीय प्रधान 
मंत्री जी के ' मन की दृढ़ता ' और ' राष्ट्रहित की व्यवहारिक सोच - प्रस्तुति करना ' ही आवश्यक है। "

---: समस्या निदान का व्यावहारिक सूत्र :---

देशमें लागू आरटीआय क़ानून कलम ४ का समग्र पूर्ण सख्ती से पालन हो.


केवल एक अध्यादेश निकाला जाए कि :--


"तत्काल प्रभाव से केंद्र और राज्य सरकार के प्रयेक सरकारी 

कार्यालय तथा प्रत्येक निजी उद्योग - प्रतिष्ठान को हर दिन के " आय 

- व्यय " ब्यौरे के प्रतिदिन लेखांकित पृष्ठ की सत्यापित प्रतिलिपि 

को { दैनिक रोकड़ बही में की गयी प्रविष्टियों के सत्यापित पृष्ठ कि 

प्रतिलिपि को } और उक्त कार्यालय के हर स्तर के प्रत्येक आदेश को 

दुसरे दिन प्रात: ११:०० बजे  सार्वजनिक सूचना पटल पर चस्पाना 

और आगामी ७ दिनों के अन्दर उपरोक्त चस्पाये गए सत्यापित 

कागजादो की हुबहू - नकलों को वेबसाईट पर अपलोड करना 

कार्यालय प्रमुख तथा निदेशक के लिए अनिवार्य व बंधनकारी होगा। 

इस आदेश की अवहेलना अंतर्गत कुछ नियत वर्षों कि कठोर सजा का 

प्रावधान होगा ।
 
( कृपया सजा की अवधि का निर्धारण न्याय विभाग से करवाकर अध्यादेश में उद्घृत किया जावे।)


यह स्मरण रहे कि 


" आरटीआय क़ानून कलम ४ के अनुसार यह प्रावधान है की सरकारी 
कार्यालयों को ' उस प्रत्येक कार्यालय के आतंरिक व्यवस्थाओं की 
सम्पूर्ण जानकारी गोपनीय नहीं रखते हुवे और नागरिकों के द्वारा 
बिना मांग किये हुवे स्वयं होकर सार्वजनिक करना है ।"

दुर्भाग्य से इस नियम [ आरटीआय क़ानून कलम ४ ] का पालन नहीं होनें के कारण देश में 
पारदर्शिता का अभाव अनुभव में आता है जो विभिन्न प्रकार के संदेह निर्माण कर देश में आरोप - 
प्रत्यारोप,  अशांति व अराजकता को जन्म देता है।

माननीय मंत्री जी, मेरा पूर्ण विश्वास है कि आप चिंता पूर्वक उपरोक्त उल्लेखित अध्यादेश का 
प्रसारण और उसका सख्ती से परिपालन करवाकर भारत में शान्ति, सुरक्षा, समृद्धि और विकास के 
मार्ग को प्रशस्त करेंगे, जिसके लिए मै आपका सदैव आभारी रहूंगा।

हार्दिक शुभकामनाओं सहित,

राष्ट्रहितार्थ प्रतिबद्ध,

-- विनम्र निवेदक --


........ चंद्रकांत वाजपेयी. 
{ जेष्ठ नागरिक एवं सामाजिक कार्यकर्ता } 

ई -मेल :-- chandrakantvjp@gmail.com +91 9730500506 begin_of_the_skype_highlighting            +91 9730500506      end_of_the_skype_highlighting .

' सीधी बात '  में  गृहराज्य मंत्री जी के साक्षात्कार के हेतू अधिकृत सूत्रधार 
माननीय श्री राहुल कंवल जी को उनके फेसबुक संदेश बक्से के माध्यम से 
ई-मेल की प्रतिलिपी सहित निम्न लिखित अंग्रेजी में पत्र भेजा गया है ।

--: श्री राहुल कंवल जी को अंग्रेजी भाषा में लिखे पत्र की प्रतिलिपी :--

04 / 02 / 2013.

SHRI RAHUL KANWAL Ji,  NAMASKAR.

                                                                                                          I AM HAPPY TO SEE THE INTERVIEW ON 
3rd FEB,2013. IN RESPECT TO RESPECTED STATE MINISTER FOR HOME AFFAIRS SHRI
R. P. N. SINGH SAHEB, ON AAJ TAK 'Sidhi Baat' UNDER YOUR BEST ANCHORSHIP. 
            IN THIS REGARD I H'VE BEEN REQUESTED & SUGGESTED A FEW LINES TO THE 
HON'BLE MINISTER.  THE SAME HAS BEEN  DELIVERED HIM THROUGH A  E-MAIL.

           SIR, THE COPY OF THIS E-MAIL IS GIVEN ABOVE  WITH CONFIDENCE 
THAT YOU WILL COOPERATE ME AT YOUR LEVEL TO AVOID VIOLATION OF RTI ACT 
COLUMN 4. I SHALL BE THANKFULTO YOU AS THE TRANSPARENCY WILL COME OUT 
AT ALL THE OFFICES DUE TO SHARE OF YOUR HARD EFFORDS FOR THE STOPAGE OF 
UNDUE ALLEGATIONS RESULTING PEACE IN THE COUNTRY AS STATED IN THE E-MAIL.
Thank you Sir, Best Wishes.
With warm regards

CHANDRAKANT VAJPEYI. Sr.Citizen & Social Worker. Aurangabad.